बाइकों पर घूम रहे युवकों और दुकानदारों की पुलिस ने ली जमकर खबर 

रुड़की। लॉकडाउन के दूसरे दिन दस बजते ही पुलिस-प्रशासन फॉर्म में आ गया। बिना वजह बाइकों पर घूम रहे युवकों और दुकानदारों की पुलिस ने जमकर खबर ली। किसी को मुर्गा बनाया, तो किसी से उठक-बैठक लगवाई। साथ ही, कलियर पुलिस ने तो समाज के दुश्मन की पट्टी गले में डालकर लोगों को गलती का एहसास कराया। शहर से लेकर देहात तक सभी मुख्य रास्तों को बंद कर दिया गया। इस दौरान 15 वाहनों को सीज किया गया। 22 के चालान काटे गए। 

सरकार की ओर से 23 मार्च को लॉकडाउन के आदेश दिए गए थे, लेकिन पहले ही दिन लोगों ने लॉकडाउन की धज्जियां उड़ा दी। इसके बाद दूसरे दिन पुलिस-प्रशासन हरकत में आया। सुबह सात बजे से लेकर दस बजे तक तो जरूरी सामानों की दुकान खुली रही। बैंक आदि में भी कामकाज हुआ, जैसे ही 10 बजे पुलिस ने सड़क पर घूमने वालों की खबर लेनी शुरू कर दी। रामपुर चुंगी पर तो पुलिस ने बाइक पर तीन सवारी बैठाकर घूमने वाले युवकों की जमकर खबर ली। उनको फटकार लगाते हुए उठक-बैठक लगवा दी। इसके अलावा सिविल लाइंस, मुख्य बाजार में पुलिस ने युवकों को पकड़कर उसने मुर्गा परेड कराई। वहीं, रामपुर चुंगी पर ही एक दुकान पर छह-सात लोग बैठे हुए थे। पुलिस ने सबको बाहर करते हुए दुकान बंद करा दी। एसपी देहात स्वप्न किशोर सिंह ने बताया कि मंगलौर, झबरेड़ा, भगवानपुर, लंढौरा आदि क्षेत्रों में भी पुलिस ने लॉकडाउन का उल्लंघन करने वालों पर सख्ती की गई। शाम होते ही पुलिस ने फिर से निगरानी बढ़ा दी।

लॉकडाउन के दूसरे दिन भी नारसन बार्डर, लखनौता चैराहा, मंडावर, काली नदी से होकर कुछ वाहन चालकों ने अंदर घुसने की कोशिश की, लेकिन, पुलिस ने उन्हें अंदर नहीं घुसने दिया। इस बात को लेकर जबरदस्त नोकझोंक होती रही। वहीं, तेज्जूपुर स्थित बार्डर पर भी पुलिस ने पहरा बढ़ा दिया। आने-जाने वालों को पूरी तरह से रोक दिया गया है। विभिन्न स्थानों पर राजमार्ग पर भी बैरिकेडिंग लगा दी गई है। राजमार्ग की ओर आने वाली विभिन्न गलियों से लोग बाहर निकलकर राजमार्ग की ओर आ रहे थे। इन लोगों को पुलिस ने घेराबंदी करते हुए घरों के अंदर ही धकेल दिया। हाईवे पर मवेशियों ने जमाया डेरा रुड़की के रामपुर में दिल्ली-देहरादून राजमार्ग पर वाहनों का आवागमन बंद होने के साथ ही यहां मवेशियों ने डेरा डाल दिया है। मंगलवार को दिनभर मवेशी बैठे रहे। पुलिसकर्मियों ने मवेशियों के लिए चारे आदि की व्यवस्था की।